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Components of Buildings and their Functions- मकान के भाग और उनके कार्य
इस आर्टिकल में हमने मकान के डिफरेंट पार्ट्स के बारे में बताये है जैसे की foundation, plinth or sub-structures, super-structures, lintel, Column, beam etc. इन सभी पार्ट्स के function को समझाया हैं। तो चलिए स्टार्ट करते हैं।
मकान को मुख्य तीन भागो में बाटा गया हैं।
- Foundation
- Plinth or sub-structure
- Super-structure
१. Foundation :
मकान के सबसे निचे वाले भाग को Foundation कहते हैं। इसका काम मकान के Load को safely जमीन मै ट्रांसफर करना है.
ज्यादातर मकान का फेलियर फाउंडेशन के फेलियर के कारन ही होता है.
Foundation को जमीं के निचे कंस्ट्रक्ट करने के कारण नीचे बताये है.
- Foundation के निचे मजबूत स्तर प्राप्त करने के लिए।
- Foundation को वातावरण के Effect से बचाने के लिए।
- Horizontal force के कारण building को गिरने से बचाने के लये।
२. Plinth or Sub-structure :
Ground level से मकान के floor level तक के भाग को plinth कहते हैं।
Indian standard के हिसाब से Plinth की Minimum Height 45cm है। तो भी रिक्वायरमेंट्स के हिसाब से प्लिंथ की हाइट को काम ज्यादा रख सकते है.
प्लिंथ में निचे के भागो का समावेश होता है।
- Damp Proof Coarse
- फर्स
- फर्स का बेस
- फर्स के निचे की soil
- Foundation wall
Functions of Plinth :
- Super – structure के लोड को safely फाउंडेशन पर ट्रांसफर करना।
- मकान को damp से protection देना।
- flooring के लिए प्रॉपर लेवल देना। और हार्ड एंड सूटेबल सरफेस प्रोवाइड करना।
३. Super-Structure:
मकान में प्लिंथ लेवल से ऊपर के भाग को सुपर स्ट्रक्चर कहते है।
सुपर स्ट्रक्चर के विविध भागो को निचे बताया गया है।
Walls (दीवाल ):
दीवाल सुपर स्ट्रक्चर के लोड को फाउंडेशन में ट्रांसफर करने के लिए बनाये होते है। और फ्रेम्ड स्ट्रक्चर में दीवाल का यूज़ रूम्स को पैक करने के लिए और कॉलम के बीच की जगह को फील करने के लिए होता है।
Flooring (फर्स ):
मकान के दीवाल के बीच के भाग में समतल भाग को तैयार किया जाता है जिसे फ्लोरिंग कहते है। फर्स का उपयोग अच्छे से आने जने के लिए, रहने के लिए होता है।
Doors (दरवाजे):
एक रूम से दूसरे रूम में जाने के लिए दरवाजे का यूज़ होता है। दरवाजे घर को security प्रोवाइड करते है। और वेंटिलेशन के लिए भी इम्पोर्टेन्ट होते है दरवाजे।
Window (बारी):
मकान में हवा – उजास (ventilation) के लिए बारी को बनाया जाता है। IS के हिसाब से बारी का कम से कम एरिया फ्लोरिंग के १०% से ज्यादा होना चाइये।
Roof (छत) :
मकान में सबसे ऊपर के भाग में रक्छात्मक शेड बनाने में आता है जिसे छत कहते है। छत का काम मकान को गर्मी, ठंडी, बारिश, पवन, snow वगेरे से रछण करना है।
Sills:
बारी और दीवाल के बीच में सिल बनाने में आता है। सील पत्थर अथवा तो RCC का बना होता है। सील दीवाल का protect करते है against wear and tear.
Lintel :
बारी और दरवाजे के ऊपर के भाग से आते हुए लोड को बारी और दरवाजे सहन नहीं कर सकते इसलिए बारी और दरवाजे के ऊपर RCC का beam और लम्बा पत्थर रखा जाता है जिसे लिंटल कहते है। लिंटल सुपर स्ट्रक्चर के लोड को दीवाल पैर safely ट्रांसफर कर देते है। जिससे बारी और दरवाजे को नुकसान नहीं होता है।
Weather Shed :
लिंटल में से बाहर की और प्रोजेक्टेड किये हुए भाग को Weather Shed कहते है। weather shed मकान को बारिश, कड़क धुप, वगेरे से रक्षण देते है।
Stair :
मकान में एक फ्लोर से दूसरे फ्लोर पैर आने जाने के लिए Stair बनाये जाते है और उनका उसे करते है।
Parapet wall :
मकान में सबसे ऊपर फ्लोर के चारो तरफ पैरापेट वाल बनाये जाते है। जो मनुष्य को निचे गिरने से बचते है।
Coping :
पैरापेट वाल के ऊपर कोपिंग बनाये जाते है। कोपिंग का काम मकान में dampness के सामने प्रोटक्शन देना है।
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